देखें नोएडा पुलिस की नयी हाई टेक चालान तकनीक, वीडियो के साथ पूरा ब्यौरा

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ROHIT SHARMA

NOIDA: ट्रैफिक पुलिस ने यातायात नियम तोड़ने वालों को सबक सिखाने का हाईटेक रास्ता ढूंढ निकाला है। ये हाईटेक तरीका किसी की सिफारिश भी नहीं मानेगा। इसलिए कि नियम के उल्लंघन पर कोई आपको टोकेगा ही नहीं। बसचालान आपके घर पहुंच जाएगा। इसके लिए स्मार्ट सिग्नलिंग सिस्टम के अलावा दो इंटरसेप्टर गाड़ियां तैनात की गई हैं। नोएडा के अस्त-व्यस्त ट्रैफिक को अनुशासित करने के लिए ट्रैफिक पुलिस ने कमर कस ली है।

पूरे शहर में सड़क किनारे बड़ी संख्या में वाहन खड़े होते हैं। इनमें अधिकतर नो-पार्किंग जोन में होते हैं। इससे ट्रैफिक जाम की समस्या पैदा हो जाती है। ट्रैफिक पुलिस की किसी कार्रवाई पर सिफारिशी फोन आने लगते हैं। मजबूरन पुलिस को बिना कार्रवाई वाहन छोड़ना पड़ता है। इस स्थिति से निबटने के लिए ट्रैफिक पुलिस ने आधुनिक तकनीक का सहारा लिया है। यह सिस्टम 24 घंटे काम करेगा। रात के अंधेरे में भी गलती करने वालों को दंड भुगतना पड़ेगा। आधुनिक सिस्टम के तहत आटो चालान जनरेट हो जाएगा और वाहन स्वामी के घर उसे पहुंचा दिया जाएगा। इसके लिए दो इंटरसेप्टर गाड़ियां बनाई गई हैं। ये एक साफ्टवेयर और आधुनिक कैमरे से लैस हैं। साफ्टवेयर में ट्रैफिक रूल्स और उसके उल्लंघन के टाडा फीड किए गए हैं। इसमें नो-पार्किंग जोन में खड़े वाहन और रॉग साइड से आ रही गाड़ियों की पहचान भी ये साफ्टवेयर कर लेगा और कैमरे की मदद से उस गाड़ी का नंबर और लोकेशन भी ट्रेस कर आटो चालान जनरेट कर देगा। विभाग की ओर से उस चालान को वाहन स्वामी के घर पहुंचा दिया जाएगा। इंटरसेप्टर गाड़ियों में लगे साफ्टवेयर से देशभर की गाड़ियों के डेटा को जोड़ा गया है। इससे देश के किसी भी राज्य की गाड़ियों के डिटेल ऑटोमेटिक सिस्टम में आ जाएंगे। उन्होंने बताया कि दूसरे राज्यों की गाड़ियों के चालान के एवज में पेनाल्टी की रकम जमा करने के लिए भी ऑनलाइन सिस्टम तैयार किया जा रहा हैजिससे दूरदराज के लोगों को चालान भुगतने के लिए नोएडा आने की जरूरत नहीं पड़ेगी। उन्होंने बताया कि कुछ ऐसी ही व्यवस्था शहर के प्रमुख चौराहों पर भी की जा रही है। सिग्नल के साथ ही हाईटेक कैमरा लगाया जाएगा। वह भी एक साफ्टवेयर से जुड़ा होगा। वह किसी भी वाहन के ट्रैफिक नियम तोड़ने पर ऑटो चालान जनरेट कर देगा। इसे फिलहाल शहर के दो प्रमुख चौराहों पर प्रयोग के तौर पर शुरू किया जा रहा है। लाल बत्ती चौराहे पर स्टॉप लाइन पार करनेलाल बत्ती जम्प करने या दूसरे नियमों के उल्लंघन पर कैमरे के साथ अटैच साफ्टवेयर उस वाहन के नंबर के साथ चालान जनरेट कर देगा। नोएडा हाईटेक शहर है। राजधानी दिल्ली से जुड़े होने के कारण तमाम हाई प्रोफाइल लोग यहां रहते हैं। बेंगलुरू के बाद नोएडा ही आईटी का सबसे बड़ हब बन गया है। वास्तव में अब इस शहर को तकनीक से जुड़ने की जरूरत है। तकनीक का इस्तेमाल का मकसद किसी को पनिश करना नहींबल्कि अनुशासित करना हैजिससे जाम की समस्या से शहर के लोगों को राहत मिल सके।  

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