शिक्षकों का आर्थिक एवं सामाजिक रूप से कमजोर होना एक चिंता का विषय : भगवती प्रकाश शर्मा , कुलपति, गौतम बुद्ध विश्वविद्यालय

Rohit Sharma

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टेन न्यूज़ नेटवर्क ने “एक मुलाकात ” कार्यक्रम शुरू किया , जिसमे तमाम हस्तियों की उपलब्धि , साथ ही उपलब्धि पाने में चुनौती का सामना समेत अन्य महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा की जाती है | वही टेन न्यूज़ नेटवर्क के “एक मुलाकात ” कार्यक्रम में भगवती प्रकाश शर्मा , कुलपति, गौतम बुद्ध विश्वविद्यालय शामिल रहे | इस कार्यक्रम का संचालन बहुत समाजसेवक व प्रोफेसर डॉ कुलदीप मलिक ने किया | ग्रेटर नोएडा स्थित बड़े संस्थान में हज़ारों की संख्या में बच्चों को पढ़ाते है |

आपको बता दे कि भगवती प्रकाश शर्मा , कुलपति, गौतम बुद्ध विश्वविद्यालय। का जन्म 13 अगस्त 1954 राजस्थान में हुआ , राजस्थान में उन्होंने अपनी शिक्षा ग्रहण की | यूनिवर्सिटी ऑफ उदयपुर से बैचलर और मास्टर डिग्री प्राप्त की , उसके बाद मोहनलाल यूनिवर्सिटी में डॉक्टरेट की उपाधि हासिल की |

खासबात यह है कि पिछले लगभग 40 सालों से शिक्षा के क्षेत्र से जुड़े हुए हैं और इस क्षेत्र में बड़ी बड़ी उपलब्धियां हासिल करते हुए गौतमबुद्ध विश्वविद्यालय में वाइस चांसलर के पद पद पर कार्यरत है , उन्होंने देश में नहीं बल्कि विदेशों में भी हिंदुस्तान का परचम लहराया है |

भगवती प्रकाश शर्मा वर्ल्ड ट्रेड ऑर्गेनाइजेशन में हिंदुस्तान का प्रतिनिधित्व कर चुके हैं , संयुक्त अरब अमीरात के दुबई और आबूधाबी जैसी जगहों पर विवेकानंद के वैश्विक मानववाद शीर्षक पर अपना व्याख्यान देकर हिंदुस्तान की सभ्यता और संस्कृति का विश्व में प्रचार प्रसार करने में एक महत्वपूर्ण भूमिका अदा की है |

प्रोफेसर भगवती प्रकाश शर्मा देश में नहीं अपितु विदेशों में भी एक अच्छे अर्थशास्त्री , एडमिनिस्ट्रेशन , एजुकेशनलिस्ट , लीडर , मेंटर , मैनेजर , रिसर्चर के साथ-साथ अच्छे हुमन बीइंग के रूप में जाने जाते हैं | प्रोफेसर बीपी शर्मा वैश्विक व्यापार परिदृश्य डब्ल्यूटीओ, मुक्त व्यापार समझौते, आर्थिक वैश्वीकरण, पेटेंट, निवेश उपाय, व्यवसाय, पर्यावरण, सामाजिक-सांस्कृतिक मूल्य और रुझान आदि के विशेषज्ञ हैं।

वह उपरोक्त सभी मुद्दों पर गहन पर्यवेक्षक और नियमित टिप्पणीकार रहे हैं। जब से डब्ल्यूटीओ के गठन के लिए वार्ता के उरुग्वे दौर की शुरुआत हुई है, वह 2003 से डब्ल्यूटीओ के द्वि-वार्षिक मंत्रिस्तरीय सम्मेलनों में एमटीए का अध्ययन कर रहे है ।

15 दिसंबर से 18 दिसंबर 2015 के बीच केन्या के नैरोबी में आयोजित विश्व व्यापार संगठन के 10 वें द्विवार्षिक मंत्रिस्तरीय सम्मेलन में उन्होंने भाग लिया है, जिसमें उन्होंने कई मुद्दों पर बात की है, जिसमें स्वत: अनिवार्य लाइसेंसिंग, कृषि मुद्दे, फर्म व्यापार विशेष सुरक्षित गार्ड तंत्र और अन्य मुद्दों की एक श्रृंखला , इंट्रा शामिल हैं।

प्रोफेसर भगवती प्रकाश शर्मा ने उपलब्धि पाने में किसका श्रेय है को लेकर कहा की इन सब का श्रेय मैं दो बातों को देता हूं एक तो निरंतर अध्ययन की प्रगति और दूसरा निरंतर मैने विषयों के रूपण लोगों के साथ संपर्क पूर्वक और देश के सम्बुद्ध समय समय पर चुनोतियाँ आती रही ।

उदाहरण के लिए जिस समय हमारे देश में 80 के दशक में आर्थिक संसाधनों का संकट खड़ा हो गया था , उस समय उन विषयों पर मेरा लेखन रहा है- फिजिकल डेफिसिट आदि के ऊपर । उसके बाद 86 से ही डब्ल्यूटीओ निर्माण पर मेरा लेखन रहा है समेत ऐसे बहुत से मुद्दे है , जिसमे मुझे बड़ी सफलता हासिल हुई , जिसके बाद आज में इस मुकाम पर हूँ ।

साथ ही उन्होंने कहा कि निरंतर आपको पढ़ने का शौक है और आप नई नई जानकारियां एकत्रित करते हैं उन सभी जानकारियों को लोगों तक शेयर करना चाहिए , उसमें एक उत्साह होता है | दो प्रकार का किसी विषय में कुछ चुनौतियां आती है , तो उसका समाधान आपके पास होता है , जिसका परिणाम अच्छा होता है |

देश हित मुद्दे पर जब जानकारीयां या सुझाव आपसे लिए जाते है तो उस बढ़कर आप मे कोई उत्साह नही होता है । आज इस मुकाम हासिल करने के बाद यह पता चलता है की अध्य्यन करना और बाकि है , बहुत से लोग ऐसे है जिनके पास मुझसे ज्यादा जानकारिया उपलब्ध है , जिनसे में खुद सीखना चाहता हू |

उन्होंने कहा कि कोई शख्स पौधरोपण करता है , तो उसे हर साल मौके पर जाकर उस पौधे का जन्मदिन मनाना चाहिए , जिससे पता चल सके कि वो ग्रोथ कर रहा है या फिर पौधा नष्ट हो गया है । अगर पौधा नष्ट हो गया है तो , उसकी जगह नया पौधा लगाए । सबको ज्यादा से ज्यादा फूल , फल और सब्जी के पौधे लगाने चाहिए । 500 और 1 हज़ार पौधे कम कम दूरी पर लगाए जाएं तो हमारा पर्यावरण बढ़िया रहेगा।

वाइस चांसलर ने कहा कि मेरे यहाँ आने के बाद गौतमबुद्ध विश्वविद्यालय में शिक्षा व्यवस्था की गुणवत्ता में सुधार किया गया । आज हमारे विश्वविद्यालय में बीटेक आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस शुरु किया । आज हमारा विश्वविद्यालय देश मे नाम कमा रहा है । हमारे विश्वविद्यालय में पिछले साल बहुत सी अकेडमिक एक्टिविटी करवाई गई , प्रवेश में सुधार आया है , वर्कशॉप करवाई गई | उन्होंने कहा कि गौतमबुद्ध विश्वविद्यालय का नाम आने वाले 2 सालों में विदेशों में भी नाम होगा ।

गौतमबुद्ध विश्वविद्यालय में जो नेगेटिविटी वातावरण फैल रहा था , लेकिन में जब आया तब मैंने यह महसूस किया । जिसको लेकर मैने अपने विश्वविद्यालय के फैकल्टी के साथ बैठक शुरू की , उस बैठक में बहुत से महत्वपूर्ण बिंदु पर चर्चा की गई , जिस पर काम भी किया गया । थोड़ी ही दिनों बाद हमारे गौतमबुद्ध विश्वविद्यालय में जो नेगेटिविटी का वातावरण फैल रहा था वो खत्म हुआ । में चाहता हूँ कि मेरे छात्र नोकरी के लिए कही न जाए , दुसरो को नोकरी देने का काम करे |

प्रोफेसर डॉ भगवती प्रकाश शर्मा ने कहा की देश में आज शिक्षक के सशक्तिकरण की है सख्त आवश्यकता है | उन्होंने कहा कि आज शिक्षा और शिक्षण के क्षेत्र में अनेक उपलब्धियों में से अध्यापक व शिक्षा को एक गंभीर सरोकार के रूप में देखा जा रहा है। अंतर विश्वविद्यालयीय अध्यापक शिक्षा केंद्र जैसी संस्थाओं को इस पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है। “दुनिया को आज राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर 21वीं सदी की चुनौतियों का सामना करने के लिए समर्पित, कुशल और दक्ष अध्यापकों की आवश्यकता है।”

उच्च शिक्षा में विभिन्न विषयों के शिक्षण-प्रशिक्षण हेतु अध्यापकों की दक्षता एक बहुत बड़ी चुनौती है। इसके लिए उच्च शिक्षा के विस्तार का नया स्वरूप, अधिगम मूल्यांकन के नए आयाम, नई शिक्षण विधियों का प्रयोग, प्रौद्योगिकी संपोषित शिक्षण, सर्वमान्य नई शिक्षण प्रणालियों एवं नए मानकों आदि में दक्षता हेतु नए अवसरों का सृजन अति आवश्यक है।

वही दूसरी तरफ प्रोफेसर डॉ भगवती प्रकाश शर्मा ने कहा की देश में आज शिक्षकों का आर्थिक एवं सामाजिक रूप से कमजोर होना एक चिंता का विषय है , जिस पर केंद्र सरकार और राज्य सरकारों को ध्यान देना चाहिए |

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