श्रम कानूनों में बदलाव पर राहुल गाँधी का बयान , मूलभूत सिद्धांतों पर नही हो सकता समझौता

Rohit Sharma

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नई दिल्ली :– कोरोना वायरस संकट की वजह से अर्थव्यवस्था के सामने कई तरह की चुनौतियां आई हैं। काम ठप होने की वजह से सबसे अधिक मार मजदूरों पर ही पड़ी है।

कई राज्यों में बीते दिनों श्रम कानून में हुए बदलावों को लेकर कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने चिंता व्यक्त की है । आज राहुल गांधी ने ट्वीट कर लिखा कि कोरोना के खिलाफ लड़ाई मानवाधिकारों को रौंदने का बहाना नहीं हो सकता है ।

कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अपने ट्वीट में लिखा, “अनेक राज्यों द्वारा श्रमकानूनों में संशोधन किया जा रहा है। हम कोरोना के खिलाफ मिलकर संघर्ष कर रहे हैं, लेकिन यह मानवाधिकारों को रौंदने, असुरक्षित कार्यस्थलों की अनुमति, श्रमिकों के शोषण और उनकी आवाज दबाने का बहाना नहीं हो सकता । इन मूलभूत सिद्धांतों पर कोई समझौता नहीं हो सकता ।

आपको बता दें कि लॉकडाउन के कारण कामकाज ठप होने के बाद कई राज्य सरकारों ने अपने यहां श्रम कानूनों में बदलाव किया है. इनमें उत्तर प्रदेश, गुजरात और मध्य प्रदेश की सरकार भी शामिल हैं. इन राज्यों ने कानून में बदलाव कर उद्योगों को राहत देने की तैयारी की है, तो वहीं इसका भार मजदूरों पर पड़ता नज़र आ रहा है।

उत्तर प्रदेश में कुछ श्रम कानूनों को कुछ वक्त के लिए निलंबित किया गया है, जबकि मध्य प्रदेश में कारखानों में शिफ्ट को आठ घंटे से बढ़ाकर 12 घंटे करने का फैसला लिया है. सिर्फ भाजपा शासित राज्यों ने नहीं बल्कि ओडिशा जैसे अन्य राज्यों ने भी ऐसा ही बदलाव किया है ।

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