दिल्ली के सभी स्टेशनों पर कल चलेगा नो प्लास्टिक कैंपेन, रेल यात्रियों को किया जाएगा जागरूक

Rohit Sharma

Delhi: प्लास्टिक के इस्तेमाल में कमी लाने और रेल यात्रियों को इसके प्रति जागरूक करने के लिए रेलवे मंगलवार को देशभर में एक विशेष मुहिम चलाएगी। इस दौरान दिल्ली डिविजन भी अपने सभी स्टेशनों पर नो प्लास्टिक कैंपेन चलाएगा। इसमें रेलवे के तमाम वरिष्ठ अधिकारी और कर्मचारी, यूनियन, कैटरिंग स्टाफ और एनजीओ के वॉलंटियर्स आदि शामिल होंगे।

सभी दिल्ली के सभी स्टेशनों पर श्रमदान करेंगे। स्टेशनों पर लगी बॉटल क्रशिंग मशीन के इस्तेमाल को बढ़ावा देने के लिए भी विशेष प्रयास किए जाएंगे। दिल्ली डिविजन के डीआरएम एस.सी. जैन ने बताया कि सेवा पखवाड़े के तहत 17 तारीख को दिल्ली के सभी रेलवे स्टेशनों, वर्कशॉप और डिपो में नो प्लास्टिक कैंपेन चलाया जाएगा। इस दिन सब लोग मिलकर स्टेशनों को प्लास्टिक कचरे से मुक्त बनाने के लिए स्टेशनों पर साफ-सफाई करेंगे।



साथ ही लोगों को भी जागरू करेंगे और बॉटल क्रशिंग मशीनों का इस्तेमाल करने को कहेंगे। कोशिश की जाएगी कि स्टेशनों पर बने फूड स्टॉल्स और कैंटीन आदि में खाने का सामान देने के लिए बायोडीग्रेडेबल चीजों का इस्तेमाल किया जाए। प्लास्टिक की थैलियों, पॉलिथीन और फॉइल के इस्तेमाल पर भी रोक लगाने की कोशिश की जा रही।

प्लास्टिक की बोतलों के कचरे को कम करने के लिए दिल्ली के ए-1 कैटिगरी के चारों प्रमुख रेलवे स्टेशनों नई दिल्ली, पुरानी दिल्ली, आनंद विहार और हजरत निजामुद्दीन पर बॉटल क्रशिंग मशीनें लगाई जा चुकी हैं। जल्द ही ए कैटिगरी के 15 अन्य रेलवे स्टेशनों पर भी ये मशीनें लगाई जाएंगी।

2अक्टूबर से निजामुद्दीन स्टेशन पर नो प्लास्टिक

दिल्ली के 400 रेलवे स्टेशनों को प्लास्टिक मुक्त बनाने की शुरुआती पहल में हजरत निजामुद्दीन स्टेशन को दिल्ली का पहला ईको फ्रेंडली रेलवे स्टेशन घोषित किया गया है। इसके तहत यहां प्लास्टिक के इस्तेमाल को कम करने के लिए विशेष प्रयास किए जाएंगे।

पायलट प्रोजेक्ट के तहत 2 अक्टूबर से इस स्टेशन के सभी स्टॉल्स पर प्लास्टिक के कप, ग्लास, चम्मच, प्लेट आदि की बिक्री और इस्तेमाल पर पूरी तरह से रोक लग जाएगी। यहां चाय भी बायोडीग्रेडेबल कप या कुल्हड़ में ही मिलेगी। इसके लिए स्टेशन के सभी टी स्टॉल्स पर पर्याप्त संख्या में कुल्हड़ उपलब्ध कराने के इंतजाम भी किए जा रहे हैं।

हालांकि, पानी, जूस, कोल्ड ड्रिंक जैसी चीजें अभी बोतल में ही मिलेंगी, लेकिन इस्तेमाल के बाद खाली बोतल को बॉटल क्रशिंग मशीनों में डालने पर जोर दिया जाएगा। इस मामले में थोड़ी सख्ती भी बरती जाएगी। प्लास्टिक कचरा फैलाने या प्लास्टिक का सामान बेचने वालों के खिलाफ कार्रवाई करते हुए उन पर जुर्माना भी लगाया जाएगा।

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