श्री थारवरचंद गहलोत ने प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम योजना की समीक्षा की |
केन्द्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री श्री थावरचंद गहलोत ने आज केन्द्रीय सलाहकार समिति की बैठक में प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम योजना (पीएमऐजीवाई) की कार्यान्वयन प्रगति की समीक्षा की। उन्होंने कहा कि अब तक विस्तार चरण में 5 पायलट राज्यों को 201 करोड़ रुपये और अन्य राज्यों को 228.97 करोड़ रुपये की राशि जारी की गई है। उन्होंने बताया कि असम, बिहार, हिमाचल प्रदेश, राजस्थान और तमिलनाडु में 1000 पायलट गांवों में इस योजना की सफलता के बाद इसे असम, उत्तर प्रदेश, पश्चिम बंगाल, मध्य प्रदेश, कर्नाटक, पंजाब, उत्तराखंड, ओडिशा, झारखंड और छत्तीसगढ़ के 1500 अनुसूचित जाति के बहुमत वाले अन्य गांवों में लागू किया जा रहा है।
प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम योजना प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम योजना (पीएमएजीवाई) केन्द्र द्वारा प्रायोजित योजना है जिसे 50 प्रतिशत से अधिक अनुसूचित जाति की आबादी वाले अनुसूचित जाति बहुमत वाले गावं के एककीकृत विकास के लिए सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय द्वारा लागू किया जाता है।
इस योजना का उद्देश्य अनुसूचित जातियों के बहुमत वाले गांवों का संबंधित योजनाओं के कार्यान्वयन के माध्यम से एकीकृत विकास अर्जित करना और मौजूदा योजनाओं के अधीन नहीं आने वाली अन्य गतिविधियों को जारी रखने के लिए आवश्यक धन उपलब्ध कराना है। पीएमएजीवाई के अधीन गांव के एकीकृत विकास के मुख्य घटक इस प्रकार हैं : (I) सड़कों का निर्माण, स्ट्रीट लाइटिंग, सुरक्षित पेयजल उपलब्ध कराने जैसी वस्तुगत अवसंरचना (Ii) स्वच्छता और पर्यावरण (Iii) सामाजिक बुनियादी ढांचा, मानव विकास और सामाजिक सद्भाव (Iv) आजीविका। इस बैठक में चुनिंदा संसादों, संबंधित विषय मंत्रालयों और राष्ट्रीय ग्रामीण विकास संस्थान के प्रतिनिधियो तथा विशेषज्ञों ने भाग लिया। |
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