संत रविदास मंदिर तोड़े जाने पर डीडीए के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में कांग्रेस ने दायर की याचिका

Rohit Sharma (Photo-Video) Lokesh Goswami Tennews New Delhi :

मंदिर के पुनर्निर्माण की मांग करने वाली इस याचिका में कहा गया है कि पूजा का कर संवैधानिक अधिकार है। हमारे संविधान हमें धर्म के प्रचार प्रसार की स्वतंत्रता भी देता है। मंदिर का पुनर्निर्माण कर मूर्ति की स्थापना की जानी चाहिए।



आपको बता दें कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर डीडीए ने 10 अगस्त को संत गुरु रविदास के मंदिर को तोड़ दिया था। जिसके बाद उनके अनुयायियों ने कोहराम मचा दिया था। लाठी-डंडों से लैस अनुयायी मंदिर तोड़ने का विरोध कर रहे थे। उस समय पुलिस ने 96 लोगों को गिरफ्तार किया था, जिनमें भीम आर्मी के प्रमुख चंद्रशेखर भी शामिल थे। पुलिस की इस कार्रवाई के बाद केंद्र सरकार की भी खूब आलोचना हुई।

आम आदमी पार्टी प्रशासित दिल्ली सरकार ने केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी को मंदिर के पुनर्निमार्ण के लिए फॉरेस्ट की जमीन डी-नोटिफाइ करने के लिए एक पत्र भी लिखा था। उन्होंने लिखा कि मुझे बताया गया है कि मंदिर को दोबारा स्थापित करने और इस अन्याय को ठीक करने का अभी भी अवसर है।

जनता की भावनाओं के अनुरूप कार्य करने के लिए डीडीए अपने विवेक का इस्तेमाल कर सकती है। सीएम केजरीवाल ने अपने पत्र में ये भी लिखा था कि जमीन पर डीडीए का स्वामित्व है। ये वन विभाग की जमीन है और इस पर डीडीए का नियंत्रण है, इसलिए केवल केंद्र ही जमीन का डि-नोटिफिकेशन कर सकता है।


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