नई दिल्ली :– बीजेपी नेता संबित पात्रा के दिए गए बयानों पर दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने पलटवार किया है , साथ ही मनीष सिसोदिया ने केंद्र सरकार के खिलाफ गम्भीर आरोप लगाए है।
मनीष सिसोदिया ने केंद्र सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि केंद्रीय मंत्री ने संसद में सफेद झूठ बोला कि ऑक्सीजन से कोई मौत नहीं हुई। केंद्र को इस पर सोचना चाहिए। 15 अप्रैल से 5 मई तक केंद्र सरकार की ओर से ऑक्सीजन का मिसमैनेजमेंट हुआ।
उन्होंने कहा कि ऑक्सीजन को लेकर पूरे देश में हाहाकार मचा था। हॉस्पिटल, डॉक्टर, पेशेंट और उनके परिवारों का बुरा हाल था। अप्रैल और मई के पहले हफ्ते में ऑक्सीजन की कमी थी। दिल्ली में मैं ऑक्सीजन का मैनेजमेंट देख रहा था।
मेरे वॉट्सएप में अस्पताल के प्रमुख, पेशेंट, तीमारदारों के मैसेज थे। 13 अप्रैल के बाद से केंद्र सरकार ने ऑक्सीजन की नीतियां बदली। जो बंद कमरे में बनी, जिससे ऑक्सीजन का डिस्ट्रब्यूशन खराब हुआ। केंद्र सरकार को जिम्मेदारी लेनी पड़ेगी।
मनीष सिसोदिया ने कहा कि आक्सीजन की कमी से मौतों को लेकर केंद्र ने संसद में झूठ बोला। उस झूठ को अंडरलाइन करने के लिए भाजपा प्रवक्ता संबित पात्रा आए। उन्होंने गलती नहीं समझी। केजरीवाल, ममता और नॉन बीजेपी सरकारों को गाली देना शुरू कर दिया। केंद्र सरकार जिम्मेदारी तो ले कि ऑक्सीजन की कमी से मरीजों की मौत हुई।
इसके साथ ही उप मुख्यमंत्री सिसोदिया ने कहा कि अगर दिल्ली सरकार की समिति को मंजूरी मिलती है तो कोविड महामारी की दूसरी लहर के दौरान ऑक्सीजन संकट के कारण हुई मौत के सभी मामलों की जांच की जाएगी।
उन्होंने कहा, ‘अगर ऑक्सीजन की कोई कमी नहीं थी तो अस्पताल अदालत क्यों गए? अस्पताल और मीडिया रोज ऑक्सीजन की कमी के मुद्दे उठा रहे थे। टेलीविजन चैनलों ने दिखाया कि कैसे अस्पतालों में जीवनदायिनी गैस की कमी थी। यह कहना बिल्कुल गलत है कि ऑक्सीजन की कमी के कारण किसी की जान नहीं गई , दिल्ली और देश में कई अन्य स्थानों पर ऑक्सीजन की कमी के कारण कई लोगों की मौत हुई है।
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