एसटीएफ पुलिस टीम ने 15 हजार के खुख्यात अपराध ी को किया गिरफ्तार

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Saurabh shrivastava Tennews गौतम बुध की एस टी फ टीम ने 15 हजार के खुख्यात अपराधी को किया गिरफ्तार।
ग्रेटर नॉएडा के सिंगमा-3 गोल चक्कर के पास सर्विस रोड ग्रीन बेल्ट से 13 सालो से हत्या के साथ डकैती की कई वारदातो को अंजाम देने वाले खुख्यात अपराधी चन्दा उर्फ़ करतार सिंह उर्फ़ चरण सिंह उर्फ़ किशन पल पुत्र मंगल सिंह बावरिया उर्फ़ भगत सिंह निवासी ग्राम पुवारी थाना कासना गौतमबुद्ध नगर जिसके ऊपर 15 हजार का इनाम था उसे गिरफ्तार किया ।इसके पास से 12 बोर की बन्दूक व कारतूस मिला है
वेस्ट यूपी एसटीफ के एसपी आलोक प्रियदर्शी ने बताया की खुख्यात अपराधी चन्दा जिसकी उम्र करीब 55 वर्ष है से पूछताछ में बताया की उसके 6 भाई है जो अपराधिक घटनाओं को अंजाम देते है चन्दा बावरिया के बड़े भाई का 20 साल पहले एक एक्सीडेंट में मौत हो गई थी और 15 साल पहले दूसरे भाई का जला हुआ शव नॉएडा क्षेत्र में मिला था चन्दा का पिता मंगल सिंह भी अपने समय का खुक्यात हवा सिंह बावरिया गंगक अपराधी रहा है।चन्दा ने बताया की उसने सन 1994 में अपने भाई के साथ अपराध जगत में कदम रखा था चन्दा ने सन 1994 से लेकर 2003 तक कई छोटी बड़ी कई डकैती की घटनाओ को अंजाम दिया था 2003 में चन्दा ने कस्बा कासना गौतमबुद्ध नगर में एक दुग्ध व्यापारी के यहाँ डकैती डाली थी उसमे एक महिला को मौत हो गई थी। जिसमे इसके ऊपर 35/2003 धारा 394/302 भादवि का अभियोग पंजीकृत हुआ था और इस अपराध में चन्दा के ऊपर पुलिस महानिरीक्षक, मेरठ द्वारा 15,000 ईनाम रखा गया था। इस घटना के बाद इसके गैंग का एक मेंबर पकड़ा गया और चन्दा नॉएडा छोड़ कर बीकानेर भाग गया राजिस्थान जा कर अपने साथियों के साथ डकैती की वारदात को अंजाम देने लगा ।अपने साथियों के साथ मिल कर ट्रक लूट करते समय पकड़ा गया और 6 महीने बीकानेर जेल में रहा । पेशी पर ले जाते समय वह गाड़ी से कूद कर फरार हो गया ।करीब डेढ़ दो महीने बाद उसे उसके बहनोई धर्मवीर ने थाना कविनगर गाजियाबाद में पकड़ा दिया। तथा उसकी जमानत तीन महीने बाद हुई। चन्दा जेल से छूटने के बाद वर्ष 2009 में नासिक महाराष्ट् चला गया वहाँ देसी दवाई की दुकान सड़क में टेंट लगा कर करने लगा। नासिक के बाद पूना, अहमदाबाद घूमता हुआ सवाई माधोपुर राजथान पहुँचा जहाँ चन्दा ने वर्ष 2013 में माकन खरीदा जिसको वर्ष 2013 में ही 15 लाख में बेच दिया और वहाँ से निकल कर ग्राम नियाना ने 35 बीघा ज़मीन खरीद ली तथा नियाना में ही देसी दवाई टेंट लगाकर बेचने के बहाने रहने लगा । चन्दा ने करतार सिंह के फर्जी नाम/ पते से आई. सी .आई. सी.आई. बैंक अंता सवाई माधोपुर से सात लाख का लोन भी ले लिया तथा इसी फर्जी नाम पते से डेढ़ लाख का लोन और लेने हेतु अप्लाई कर रखा था। चन्दा ने एक सुनार के यहाँ 50 ग्राम सोना गिरवी रखकर लोन ले रखा है। बाद में खेत वगैराह बेचकर बिना लोन चुकाये वहाँ से भागने के फ़िराक में था ।
चन्दा ने बताया की जब वह अपने साथियों के साथ ग्राम पुवारा में रहता था तो उसके पास खच्चरों का झुण्ड था जिनको ले कर वह घूमते रहते थे घूमते घूमते ऐसे घरो को चुन लेते थे जो घर गांव से बहार व धनी व्यक्ति का लगता था उसके बाद ही लूट की घटना को अंजाम देते थे। चन्दा ने ढाई लाख का एक ट्रक भी ख़रीदा था जिसका इस्तमाल वो लूट में करते थे।

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