*राष्ट्रीय लोकाधिकार संगठन द्वारा संगोष्ठी का आयोजन, बदलते राजनितिक समीकरण और कश्मीर में बढ़ते आतंकवाद पर चर्चा *
*राष्ट्रीय लोकाधिकार संगठन द्वारा संगोष्ठी का आयोजन, बदलते राजनितिक समीकरण और कश्मीर में बढ़ते आतंकवाद पर चर्चा *
नोएडा : देश के अंदर बदलते राजनीति समीकरण व कश्मीर में बढ़ते आंतकवाद को लेकर नोएडा में एक विशाल संगोष्ठी का आयोजन किया गया। इस संगोष्ठी का आयोजन राष्ट्रीय लोकाधिकार संगठन द्वारा किया गया था ।
नोएडा के सेक्टर 6 स्थित इंदिरा गांधी कला केंद्र सभागार में इस परिचर्चा का आयोजन हुआ । जिसमें केन्द्र सरकार के परमाणु ऊर्जा , अंतरिक्ष विभाग ( स्वंतत्र प्रभार ) मंत्री डॉ जितेंद्र सिंह , केंद्रीय मंत्री डॉ महेश शर्मा व अन्य गणमान्य व्यक्तियों ने शिरकत की।
साथ ही शहर के अलावा दूसरे शहर के जानीमानी हस्तियों ने कार्यक्रम की शोभा बढ़ाई। इस कार्यक्रम की शुरुवात पूर्व प्रधानमंत्री व अपनी बात पर अटल रहने वाले भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी को सच्ची श्रद्धांजलि देकर की गई । साथ ही इनके विचारों पर चलने का संकल्प दोहराया गया ।
इस अवसर पर राष्ट्रीय लोकाधिकार आंदोलन के राष्ट्रीय चैयरमेन श्रवण कुमार शर्मा (आईएएस) ने कहा कि इस परिचर्चा में अटल बिहारी वाजपेयी जी के व्यक्तिव के बारे जानने की कोशिश हुई और अटल जी के संघर्षहींन जीवन गाथा से कुछ सीखने को मिला और इसके साथ ही देश मे समय समय पर बदलते राजनीति समीकरण से ऐसा प्रतीत होता है अब देश की बागडोर युवापीढ़ी के हाथों में है और देश की सबसे बड़ी जटिल समस्या जो आज़ादी के बाद भी ऐसी की ऐसी है मगर आज तक समाधान नही हुआ है वो ही कश्मीर की ।
जो दूसरा मुल्क आतंकवाद के जरिये सुलझाने की कोशिश कर रहा है भारत में भी इस समस्या को सुलझाने में कितने लाखो सैनिक अपनी जान की आहुति दे चुके है लेकिन समस्या आज भी ऐसी है ।
उन्होंने सवाल उठाया की कही कश्मीर के आतंकवाद को बढ़ावा देने में राजनीतिकरण तो नही । साथ ही जम्मू कश्मीर में एक और जटिल समस्या है वो है धारा 370 , आज हम ये जानने की कोशिश करेंगे की ये धारा 370 कब तक रहेगी , क्योकि जब देश मे नई सरकार ने दावा किया था कि हम जल्द ही धारा 370 हटाने पर विचार किया जाएगा। लेकिन आज तक नही हुआ । क्या ये धारा कश्मीर में हमेशा रहेगी?
इस मौके पर स्वंतंत्र प्रभार मंत्री जितेंद्र सिंह ने कहा कि अटल जी अपने समय पर और आज भी युवापीढ़ी के प्रेरणास्त्रोत रहें हैं और सदा रहेंगे। अटल जी अपने जीवन से लेकर राजनीति के गलियारों तक अपनी बात पर अटल रहे । उनके सादगी व उनके विचार हर व्यक्ति के मन में बसे हुए है। जवाहरलाल नेहरू देश के पहले प्रधानमंत्री बने तो विवाद शुरू हुआ और आज भी वो कुछ विवादों में फसे है लेकिन अटल जी न प्रधानमंत्रीबनने से पहले विवादों में थे नाही प्रधानमंत्री बनने के बाद और मेरा मानना है कि अगर आज़ादी के बाद सरदार पटेल प्रधानमंत्री बनने होते तो आज जम्मू कश्मीर के साथ साथ उपमहाद्वीप में बहुत कुछ बदलाव होता ।
डॉ महेश शर्मा ने कहा कि देश आज मोदी जी के नेतृव में दुनिया के शिखर पर अपना परचम लहरा रहा है । आज भारत की संस्कृति के बारे में किसी बाहर वाले को बताने की जरूरत नही है । पर्यावरण का हमारा चोली दामन का साथ है । ये हमारा देश ही है जहाँ हम पर्यावरण से जुड़ी चीजो को हम पूजते है। जैसे नदी, पेड़, पशुओं ,के साथ साथ हम अपने बुजर्गो को पूजते है । ये भारत की संस्कृति है ।
कार्यक्रम में आये मुख्य अतिथियो को राष्ट्रीय लोकाधिकार संगठन की तरफ से समानित भी किया गया ।
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