@BIMTECHNOIDA PAID MUSICAL TRIBUTES TO LYRICIST SHAILENDRA IN A UNIQUE WAY

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एक युग जहाँ श्रेष्ठ गीतकारों की भरमार थी, उनमें से एक गीतकार था, जिसने अपने साहित्यिक निपुणता के जरिये उन गानों को लिखा जो अपने आप में किसी कविता से कम नहीं थे | मेरे अनुसार वे अद्वितीय थे | उनका नाम था, श्री शंकरदास केशरीलाल शैलेन्द्र | बिमटेक ,ग्रेटर नॉएडा ने जन सांस्कृतिक मंच (मथुरा) के साथ मिलकर उनके जन्मदिवस के दो दिन पूर्व उन्हें भावपूर्ण श्रद्धांजलि दी | कार्यक्रम की शुरुआत बिमटेक के डायरेक्टर श्री चतुर्वेदी जी ने अतिथिगणों को शुभकामनाएं दे कर की | तत्पश्चात कार्यक्रम की मुख्य अतिथि सुश्री मनीषा गुप्ता(अध्यक्ष,नगर पालिका, मथुरा) ने शैलेन्द्रजी को याद किया| कार्यक्रम में मौजूद श्री दिनेश शंकर शैलेन्द्र( शैलेन्दजी के सुपुत्र) ने अपने पिता के साथ बिताये हुए लम्हों को याद किया और अपने अनुभवों को सांझा किया| तत्पश्चात बिमटेक के विद्यार्थियों ने उनके लिखे गानों को गा के उन्हें श्रधांजली दी |अंततः मैं यही कहूँगा कि आज का ज़माना भले ही योयो हनी सिंह जैसे गीतकारों का ज़माना है, लेकिन मेरा यह मानना है कि हमारे देश की संस्कृति एवं सभ्यता को आज भी जीवित शैलेन्द्रजी जैसे गीतकारों ने ही रखा है |

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