पॉलीथीन बैन पर ग्रेटर नोएडा से ग्राउंड रिपोर्ट : समाजसेवी फैला रहे जागरूकता, दुकानों से अभी भी नहीं हटी पन्नियां

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Saurabh Kumar / Baidyanath Halder

 

शासन के आदेशानुसार 15 जुलाई से ही पुरे प्रदेश में पोल्य्थेँब पॉलीथिन बैन है, लेकिन शहर में बेरोकटोक पॉलीथिन का उपयोग हो रहा है। उत्तर प्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड भी शहर के कुछ इलाकों का निरीक्षण करने के बाद मामले को लेकर शिथिल हो गया।

नतीजा यह है कि लोग प्रशासनिक कार्रवाई से बेखौफ होकर पॉलीथिन का प्रयोग कर रहे हैं। हालांकि जमीनी हकीकत से परे दुकानदार सरकार के इस फैसले के समर्थन में नज़र आए।

इसी संदर्भ में आज टेन न्यूज़ ने जमीनी हकीकत का आंकलन करते हुए तुगलपुर मंडी पहुँच कर जमीनी हकीकत का जायज़ा लिया साथ ही दुकानदारों से भी संवाद किया। इस दौरान ग्रेटर नॉएडा के जाने माने कवि और पर्यावरण संरक्षक ओम रायजादा मौजूद रहे। इस विषय पर अपने विचार रखते हुए उन्होंने बताया की पॉलिथीन के कंपाउंड का आविष्कार गलती से हुआ पर उपयोग में सुलभ और सस्ती होने के कारण लोग इस्तेमाल करते चले गए।

आगे उन्होंने बताया की किस तरह पॉलिथीन हमारे पुरे पर्यावरण को नुकसान पहुंचा रही है। उन्होंने कहा की ना सिर्फ हमारी धरा बल्कि समुंद्री जल जीवन भी बहुत प्रभावित हो रहा है। इसके जलने पे भी बहुत जहरीला धुआँ निकलता है। प्रशाशन का रवईया भी इस विषय पर सख्त नहीं है और यही कारण है की आज भी बाज़ार में पॉलीथिन का उपयोग धड्डले से हो रहा है। लोगो को इस विषय में खुद ही जागरूक हो के इसके उपयोग से किनारा करना होगा अन्यथा आने वाले समय में स्थिति और भी गंभीर हो जाएगी।

इस दौरान समाज सेवी सरदार मंजीत सिंह ने भी सरकार के इस फैसले का स्वागत किया और उम्मीद जताई की प्रशाशन सख्ती से इसका अनुपलन सुनिश्चित करेगा।

कई दुकानों पे हमने पाया की पॉलिथीन का उपयोग किया जा रहा है सवाल पूछने पे इन दुकानदारों ने बताया की पहले से जो बची है उन्ही का उपयोग हो रहा है। हालाँकि सरकार के इस फैसले को जयदातर दुकानदारों ने सकारात्मक कदम के तौर पे लेते हुए सही ठहराया और इसका समर्थन किया। उन्होंने कहा की उन्हें शरुआती तौर पे कुछ समस्या हो रही है पर पर्यावरण के लिए वो इसके लिए तैयार है। वही कुछ ने ये भी कहा की पॉलिथीन बैन करने की जगह सरकार को इसके उत्पादन पे ही रोक लगा देनी चाहिए।

आपको बता दे की शासन ने तीन चरणों में प्लास्टिक को पूरी तरह से बैन करने की योजना बनाई है। 15 जुलाई से 50 माइक्रोन तक के पॉलीथिन व प्लास्टिक बैग को प्रतिबंधित करने का फैसला किया गया है। दूसरे चरण में 15 अगस्त से प्लास्टिक व थर्माकोल से बनी थाली, कप, प्लेट, कटोरी, गिलास आदि के प्रयोग को बैन किया जाएगा। तीसरे चरण में दो अक्तूबर से पूरे राज्य में ऐसे सभी तरह के प्लास्टिक को प्रतिबंधित कर दिया जाएगा जो नष्ट करने के योग्य नहीं हैं।

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