कोरोना महामारी के चलते वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने कुछ महीनों पहले ही सांसद निधि को 2 साल के लिए रोक लगा दी थी , साथ ही सभी सांसदों की तनख्वाह में कुछ प्रतिशत की कटौती होगी , जिसपर आज मोहर लग गयी है |
जी हाँ सांसदों की वेतन कटौती से संबंधित बिल आज लोकसभा से पास हो गया | खासबात यह है की संसद सदस्य वेतन, भत्ता और पेंशन (संशोधन) विधेयक, 2020 का ज्यादातर सांसदों ने समर्थन किया |
वही इस बिल में सभी सांसदों के वेतन में एक साल के लिए 30 फीसदी की कटौती की जाएगी , इसके अलावा सांसद निधि भी 2 साल के लिए स्थगित कर दी गई है , सरकार ने ये फैसला कोविड- 19 महामारी के कारण उत्पन्न स्थिति से मुकाबले के लिए लिया है |
वही दूसरी तरफ कुछ पार्टी के सांसदों ने कहा है की 2 साल के लिए सांसद निधि पर रोक नहीं लगानी चाहिए , क्योकि सांसद निधि से ही जिले का विकास होता है , जिससे लोंगो की परेशानिया दूर हो सके |
कुछ सांसदों का कहना है की सरकार हमारी पूरी सैलरी ले ले, कोई भी सांसद इसका विरोध नहीं करेगा. लेकिन सांसद निधि पूरी मिलनी चाहिए. जिससे कि हम लोगों के फायदे के लिए काम कर सके |
वहीं, आम आदमी पार्टी के सांसद भगवंत मान ने कहा कि सरकार 60 फीसदी भी हमारी सैलरी काट ले, हमें कोई दिक्कत नहीं है, लेकिन सांसद निधि रोकने का कोई कारण नहीं बनता. हमारे क्षेत्र के लोगों ने टैक्स को जो पैसा दिया है, वो पैसा उन्हें वापस तो मिलना चाहिए |