नोएडा एयरपोर्ट के दूसरे चरण के लिए भूमि अधिग्रहण की तैयारी में प्राधिकरण व जिला प्रशासन

ABHISHEK SHARMA

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गौतम बुद्ध नगर के जेवर में बनने वाले नोएडा एयरपोर्ट के लिए शासन, प्रशासन और प्राधिकरण के स्तर से तेजी से कार्य किया जा रहा है। नोएडा एयरपोर्ट के पहले चरण के करार के साथ ही अब दूसरे चरण की जमीन अधिग्रहित करने की तैयारी भी शुरू हो गई है। दूसरे चरण में 1800 हेक्टेयर जमीन खरीदी जाएगी। इसके लिए करीब 4500 करोड रुपए खर्च होंगे।

इस जमीन पर मेंटेनेंस, रिपेयर ओवरहॉलिंग सेंटर और तीसरा रनवे बनेगा। एयरपोर्ट जेवर के आसपास के 19 गांवों की 5000 हेक्टेयर एरिया जमीन पर प्रस्तावित है। इसका पहला चरण 1339 सेक्टर में बनने जा रहा है। इसमें दो रनवे होंगे, इसके लिए 7 अक्टूबर को ज्यूरिक कंपनी के साथ नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड का करार भी हो चुका है।

ज्यूरिक कंपनी अब एयरपोर्ट का नक्शा तैयार कर रही है। कंपनी उसे 2 महीनों में जमा करेगी। इस पर मुहर लगने के बाद नींव रखी जाएगी। इस बीच प्रदेश सरकार के निर्देश पर नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड ने दूसरे चरण के एयरपोर्ट के लिए जमीन अधिग्रहित करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। नियाल प्रस्ताव तैयार कर रहा है। इसे शीघ्र ही जिला प्रशासन को भेजा जाएगा।

जिला प्रशासन इसे अधिग्रहित करेगा। दूसरे चरण की जमीन भी अधिग्रहण के जरिए ही किसानों से ली जाएगी। 1800 हेक्टेयर जमीन के लिए करीब ₹4500 करोड खर्च होने हैं। जिसमें से प्रदेश सरकार 2000 करोड रुपए दे चुकी है। बाकी रकम नोएडा, ग्रेटर नोएडा व यमुना प्राधिकरण मिलकर वहन करेंगे।

जमीन लेते ही तारबंदी भी की जाएगी। इसके बाद तीसरे चरण की जमीन खरीदी जाएगी। तीसरे चरण में भी 1800 हेक्टेयर जमीन ली जानी है। एयरपोर्ट के दूसरे चरण की जमीन के बड़े हिस्से पर एमआरओ सेंटर बनेगा। यहां विमान रिपेयर हो सकेंगे। इस सेंटर से हजारों युवाओं को रोजगार व भारी निवेश की उम्मीद है। इसके बनने से विमानों को रिपेयर कराने के लिए विदेश नहीं जाना पड़ेगा।

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