दूसरी लहर बेहद खतरनाक, देश में सम्पूर्ण लॉकडाउन की जरूरत : वरिष्ठ कोरोना योद्धा डॉ नरेश चावला
Ten News Network
नोएडा :– देश में कोरोना का कहर जारी है , अब कोरोना योद्धा भी इस महामारी की चपेट में आ रहे हैं। जिसको देखते हुए अब सरकार की भी चिंता बढ़ने लगी है। इस महामारी में ऑक्सीजन लाने वाले और जिंदगी बचाने वाले योद्धाओं के सामने बहुत सी चुनोतियाँ सामने आ रही है , जिसका सामना ये सभी योद्धा कर रहे है। इस मामले में टेन न्यूज़ लाइव ने परिचर्चा का आयोजन किया , इस परिचर्चा में स्पेशल कमिश्नर ऑफ पुलिस एंड ऑक्सिजन योद्धा रॉबिन हिबु , कोरोना योद्धा राकेश कुमार सोनकर , सुप्रीम कोर्ट के मशहूर वकील संदीप दुबे , आईएमए के संयुक्त सचिव डॉ नरेश चावला शामिल हुए। इस परिचर्चा का संचालन वरिष्ठ पत्रकार बिपिन शर्मा ने किया। वही इस परिचर्चा में डॉ नरेश चावला द्वारा पैनल के सभी सदस्यों के प्रश्नों का जवाब दिया गया।
डॉक्टर नरेश चावला ने कहा जैसा कि हम सभी जानते है , ये कोरोना की दुसरी वेव जो कि मार्च से चल रही है और यह बहुत ही खतरनाक स्तर पर पहुंच चुकी है | अगर में पिछले 40 साल के कैरियर की बात करूं तो मेरे सामने कभी ऐसी स्थिति नहीं आई , रोजाना तीन पेशेंट को यह कहता हूं कि आप कुछ ही देर के मेहमान हैं, जो करना है कर लो। न मैं उसको ऑक्सिजन दे सकता हूँ, न में उसको आईसीयू बेड दे सकता हूँ। उन्होंने कहा रोजाना जो मौते हो रही है, वो हमारे सिस्टम फेलियर की वजह से हो रही है , क्योंकि हमारे पास पर्याप्त मात्रा में ऑक्सिजन नही है , ना ही बेड है।
आगे डॉक्टर चावला ने कहा में सभी को बता देना चाहूंगा ये जो कोरोना की दुसरी वेव है ये पहली वेव से 2 से 3 गुना ज्यादा खतरनाक है। उन्होंने कहा इसमें 4 वायरस इन्वॉल्व है पहला साउथ अफ्रीका का, एक ब्राज़ील का, एक इंग्लैंड का और एक जो सबसे ज्यादा खतरनाक है वो हिंदुस्तान में पैदा हुआ है। उसको अंग्रेजी में डबल वेरिएंट कहते है। ये सबसे खतरनाक वायरस है जो दिल्ली समेत महाराष्ट्र और पंजाब के भी कई अस्पतालों में पाया गया है। दुख की बात यह है कि यह वायरस हमारे देश से चलके 17 और देशो में घुस गया है।
आगे उन्होंने कहा की सम्पूर्ण लॉकडाउन का पूरा समर्थन में करता हूँ , इस समय जब परिस्थितियां हाथ से निकलती जा रही है। अभी जो लॉकडाउन चल रहा है , वह बहुत ही सॉफ्ट लॉकडाउन है , पिछले साल जो मार्च में लॉकडाउन हुआ था , वह बहुत ही अच्छा लॉकडाउन था और अभी हमे वैसे ही लॉकडाउन की आवश्यकता है। उन्होंने कहा पिछले साल जो मेरे गली महोल्ले के लोग है , में देखता था कि वो अपनी छत से नीचे नही आते थे , लेकिन अब तो सब कुछ चल रहा है यह लॉकडाउन कहा रह गया है।
डॉक्टर चावला ने कहा में भारत सरकार से अपील करने चाहूंगा कि कृपया करके देश में सम्पूर्ण लॉकडाउन लगाया जाए जिससे हम एक बार फिर इस बीमारी और काबू पा सके। उन्होंने कहा हर हेल्थ इक्विपमेंट की हमे तीन गुना ज्यादा जरूरी पड़ रही है और अभी 3 दिन पहले साकेत स्थित मैक्स हॉस्पिटल के एक डॉक्टर ने आत्महत्या कर ली , उनकी पत्नी प्रेग्नेंट थी | उनका कहना था कि मैंने इतने कम समय में ही ज्यादा लाशें देखें , अपनी आंखों से जिससे मैं फिजिकल के साथ साथ मेंटली भी परेशान होता जा रहा हूँ , तो हमें इस चीज को समझना होगा कि लोग फिजिकल से ज्यादा मेंटली डिस्टर्ब हो रहे हैं।
डॉ नरेश चावला ने कहा कि जो स्थिति चल रही है , इसको हम अभी भी संभाल सकते हैं , लेकिन उसके लिए हमें सिस्टमैटिकली वर्क करना होगा उन्होंने कहा सबसे पहले हर डिस्ट्रिक्ट में एक टास्क फोर्स होना चाहिए , उन्होंने एक उदाहरण दिया और कहा अगर में दिल्ली को एक यूनिट मानूं तो दिल्ली मे पुलिस वॉरियर्स 11 या 13 हैं। हर पुलिस जोन के दो नोडल ऑफिसर होने चाहिए। वह दोनों नोडल ऑफिसर रिस्पांसिबल होने चाहिए। उनको पूरी ताकत दी जाए उनका नंबर फ्लैश किया जाए | अगर हमें स्थिति पर काबू पाना है तो उसके लिए हमें यह ध्यान रखना होगा कि हर इलाके में टास्क फोर्स हो, उनके नोडल ऑफिसर हो। उनको सभी प्रकार की छूट दी जाए उनको मैन पावर दी जाए। साथ ही वह हर चीज के जवाब दे होने चाहिए।
उन्होंने कहा की कोरोना पेशेंट के साथ यह वायरस पहले फेस से किस तरीके से हावी होता है , पहले फेस में पेशेंट को हल्का बुखार रहता है , जिसमें हल्का जुकाम भी हो सकता है , गला भी खराब हो सकता है और हल्की खांसी भी होती है | इसमें पहले की जो छह 7 दिन होते हैं उसमें किसी प्रकार का नुकसान नहीं होता। उन्होंने कहा जितने भी केस बिगड़ते हैं चाहे वह 60 साल से ऊपर के व्यक्ति हो चाहे उससे नीचे के हो या उन्हें कोमोरबिडिटी हो तो 6 – 7 दिन बाद उनकी घंटियां बजनी शुरू हो जाती हैं। उनको सांस लेने में दिक्कत होने लगती है। यह वह स्टेज होती है जब पेशेंट को सीटी स्कैन और जो कुछ ब्लड चेकअप होते हैं वह उन्हें कराने चाहिए।
उन्होंने कहा मेरी आम जनता से अपील है अगर आपको बुखार हो जाता है तो वह अपना अगले दिन ही आरटी पीसीआर टेस्ट या एंटीजन टेस्ट करा लेना चाहिए है और अगर वह पॉजिटिव है तो उसे घबराने की जरूरत नहीं है , कुछ थोड़े बहुत उपाय करके भी वह व्यक्ति ठीक हो सकता है। सबसे पहले तो वह व्यक्ति अपने डॉक्टर के पूरी तरीके से टच में रहे , चाहे वह ऑन कॉल हो चाहे वीडियो कॉल हो या फिर कैसे हो दूसरा दिन में 3 से 4 लीटर पानी पीना , किसी भी कोरोना का सबसे कारगर इलाज है | तीसरा हमें चार से पांच फल खाना , कोई भी जूस वाला फल हो। चौथा एक बैलेंस डाइट जिसमें जंक फूड ना हो। एक दवाई आती है पेरासिटामोल जोकि सबसे अच्छा इलाज है और आखरी में जो सबसे ज्यादा इंपोर्टेंट है वह है भाप लेना जिससे कि आप घर में ही अपने आप को ठीक कर सकते हैं।
डॉक्टर नरेश चावला ने कहा आज के समय में हम देखने हैं जो अमीर आदमी है वह चाह रहा है कि हम कितना भी पैसा खर्च कर दे , हमें आईसीयू बेड मिल जाएगा और वही कुछ लोग क्या कर रहे हैं जो ऑक्सीजन सिलेंडर है , वह अपने घर में ही स्टॉक करके रख रहे हैं , जो कि बहुत ही गलत है साथ ही रेमेडिसीवर इंजेक्शन जिसकी इतनी ज्यादा कोई आवश्यकता नहीं है , इसकी कीमत 800 रुपए है वह आज लोग 25 से 50000 रुपए में बेच रहे हैं , जोकि बहुत ही गलत है , ऐसा हमें नहीं करना चाहिए।
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आपको बता दें कि इस परिचर्चा में बहुत से महत्वपूर्ण बिंदु निकलकर सामने आए है , अगर सरकार इस बिंदु को लेकर कोई नियम लागू करती है तो संक्रमण की चैन को तोड़ा जा सकता है , फिलहाल इस परिचर्चा का संचालन कर रहे बिपिन शर्मा ने डॉ नरेश चावला समेत अन्य पैनल के सदस्यों का धन्यवाद किया। साथ ही परिचर्चा में शामिल हुए सदस्यों ने टेन न्यूज़ का धन्यवाद किया , उन्होंने कहा कि टेन न्यूज़ नेटवर्क द्वारा किए गए महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा काफी ज्यादा सराहनीय रही है , लोग काफी ज्यादा जागरूक हुए है।
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