गुरू तेग बहादर साहिब के शहीदी दिवस पर राष् ट्रीय छुट्टी देने की दिल्ली कमेटी ने की आवाज बुलंद*
*गुरू तेग बहादर साहिब के शहीदी दिवस पर राष्ट्रीय छुट्टी देने की दिल्ली कमेटी ने की आवाज बुलंद*
*सरकारों को श्री अकाल तख्त साहिब से बागी ना होने की जी.के. ने चेतावनी दी*
*मामला केन्द्र एवं दिल्ली सरकार द्वारा गलत तारीख पर प्रतिबंधित छुट्टी ऐलानने का*
नई दिल्ली(22 नवम्बर 2016) श्री गुरू तेग बहादर साहिब जी के शहीदी दिवस की तारीख को लेकर भारत सरकार एवं दिल्ली सरकार को दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी ने ऐतराज पत्र भेजा है। दरअसल नानकशाही कैलेण्डरनुसार गुरू साहिब जी का शहीदी दिवस इस वर्ष 4 दिसम्बर को आ रहा है परन्तु दोनों सरकारों ने मूल नानकशाही कैलेण्डर के आधार पर 24 नवम्बर को शहीदी दिवस के उपलक्ष्य में जरूरी छुट्टी की बजाये प्रतिबंधित छुट्टी देने का ऐलान किया है।
कमेटी अध्यक्ष मनजीत सिंह जी.के. ने अपना तीखा विरोध जताते हुए प्रधानमंत्री एवं मुख्यमंत्री को लिखे अपने पत्र में गुरू साहिब जी के शहीदी दिवस के अवसर पर 4 दिसम्बर को गुरुद्वारा शीशगंज साहिब से गुरुद्वारा रकाबगंज साहिब तक नगरकीर्तन कमेटी द्वारा सजाने की जानकारी दी है। जी.के. ने अफसोस जताया कि सरकारे गुरू साहिब की शहीदी को अनदेखा करने की कोशिशें कर रही हैं। जबकि जितनी बड़ी गुरू साहिब की कुर्बानी थी उसके एवज में देश को शहीदी दिवस के अवसर पर राष्ट्रीय छुट्टी का ऐलान करना चाहिये था पर अहसानफरामोश सियासतदानों ने राष्ट्रीय छुट्टी तो क्या देनी थी बल्कि आखों में धूल झोंकने के लिए प्रतिबंधित छुट्टी भी गलत तारीख को देकर सिख सरकारी कर्मचारियों को शहीदी दिवस के समागमों में हिस्सा लेने से वंचित कर दिया है।
जी.के. ने रोष प्रकट करते हुए कहा कि आज यदि देश का धार्मिक ढांचा धर्मनिरपेक्ष है तो उसके लिए गुरू तेग बहादर साहिब जी ने अपना लहू बहाया था। तुरन्त शहीदी दिवस पर राष्ट्रीय छुट्टी ऐलानने की मांग करते हुए जी.के. ने श्री अकाल तख्त साहिब से सरकारों को बागी ना होने की भी चेतावनी दी। जी.के. ने याद कराया कि सिखों ने हमेशा ही जरूरत पड़ने पर अपना सर्वस्व देश पर न्योछावर किया है पर समय की सरकारों ने सिखी कदरों-कीमतें एवं गुरू साहिबानों की शहीदीयों को जरूरी तवज्जों देने की कभी भी कोशिश नहीं की, बल्कि सिखों को सियासी धड़ों में बांटकर अपना उल्लू सीधा किया है।
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